vinod's feels and words
Friday, 14 December 2018
कटु तराना : विजया
कटु तराना
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क्या हम सब
नहीं है भयातुर
पीड़ा से,
कटु सत्य है यह
सो नहीं पाते हम
धड़कते कांपते
सोचों के स्पंदनों से
जो बनाये रखते हैं
अनसोये हम को,
यही तो है ना
अनिद्रा का कटु तराना
एक बिन भूला अफ़साना....
अनिद्रा=insomenia
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