Wednesday 3 January 2018

संग बन सहचर न चलता कोई,,,,,,, : विजया



संग बन सहचर ना चलता है कोई....(Hinglish)
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हिलने में है मशक्कत 
चलने में थकन है
साथ चलना ए डिअर
तो मौजू है दिल का,
चिमटों से फुल्के सेक लेता हर कोई
संग बन सहचर ना चलता है कोई...

मॉल्स में शौपिंग
प्लेक्सेज की होप्पिंग
कैंडल लाइट में चरना
ललचाना और मुकरना
लव आजकल का ना पायी ना खोई
संग बन सहचर  ना चलता है कोई...

इंटेलेक्चुअल चर चर
इमेजिनरी एडवेंचर
शब्दों के लंबे व्यापार
तेरे मेरे होते हैं विचार
पकवान हैं फीके, ऊँची दूकान के कनोई !
संग बन सहचर ना चलता है कोई....

मिस यू माई डिअर
बिन तुम ना कोई चीयर
चले सब बदस्तूर
ना उदासी ना बेनूर
हिसाब बस जुबानी जुमलों का होई,
संग बन सहचर ना चलता है कोई...

यारों कैसी है यह इंटिमेसी
सोचें हैं वेस्टर्न जीना है देसी
टच और छूअन की बातें बेचारी
जस' फ्रेंड पड़े हैं कमिट पे भारी
चरा लो चला लो झुका डाली को गोई
संग बन सहचर ना चलता है कोई...

(शब्द स्पष्टीकरण : चिमटों से फुल्के सेकना(राजस्थानी कहावत) : बिना तक़लीफ़ उठाये ऊपरी काम करना, कनोई राजस्थानी में हलवाई को कहते हैं, गोई याने छुपा कर)


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